चंडीगढ़ |राज्य में गरीबी में बड़ा फर्जीवाड़ा सामने आया है। सरकार ने एक बार क्या चेताया कि खुद को गरीब बताने वाले 3.27 लाख परिवार मध्यम वर्गीय परिवार में शामिल हो गए। मार्च बजट सत्र के दौरान राज्य में गरीबों की संख्या बढ़ने पर लगातार सवाल उठे तो सरकार ने
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सूत्रों का कहना है कि पूरे अप्रैल माह में 3,27,830 परिवार गरीबी रेखा से ऊपर आ गए। इसके बाद सरकार ने अंदर खाते जांच भी शुरू हो गई थी। क्रिड के नए डेटा के अनुसार राज्य में अब 49,22,910 परिवार रह गए हैं। इससे पहले यह संख्या 52,50,740 तक पहुंच गई थी। अब जिन लोगों के नाम बीपीएल सूची से हटे हैं, जल्द विभिन्न विभागों के पास भी अपडेट हो जाएंगे। जिसके बाद इनकी राशन व अन्य सुविधाएं बंद हो जाएंगी। सूत्रों का कहना है कि अभी बीपीएल में किया फर्जीवाड़ा और बड़ा हो सकता है। हालांकि, सरकार कह चुकी कि किसी के खिलाफ कार्यवाही नहीं होगी।
प्रदेश में बीपीएल व एएवाई कार्ड धारकों के लिए अनेक योजनाएं संचालित की जा रही है। सस्ता राशन दिया जाता है। जिसमें गेहूं से लेकर तेल, दाल व चीनी तक शामिल है। बीपीएल छात्रों के लिए मासिक वजीफा की योजनाएं हैं। बेहतर स्वास्थ्य के लिए आयुष्मान योजना में निशुल्क इलाज होता है। प्रदेश में एचकेआरएन में गरीबों को नौकरी तक में प्राथमिकता का प्रावधान है।
मुख्यमंत्री ने लोगों से खुद गलती से बीपीएल बनवा चुके लोगों को बाहर होने के लिए कहा है। फैमिली आईडी बनाई गई है। इसलिए ईमानदारी से दस्तावेज सत्यापन करके अपलोड करे, ताकि पात्र को ही लाभ मिल सके। मेरी जानकारी में अभी डेटा अपडेट की जानकारी नहीं है। सतीश खोला , हरियाणा परिवार पहचान पत्र प्राधिकरण